Nazar Ke Samne
Anuradha Paudwal
5:34जाने क्यों देखता है इंसान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना देता नहीं सही जब देता नहीं सही जब पहेचान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना देता नहीं सही जब देता नहीं सही जब पहेचान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना आईना कुछ भी नहीं आँखों का धोका है आता है वो नज़र दिल में जो होता है आईना और दिल का एक सा फ़साना है अंजाम इन दोनों का सिर्फ टूट जाना है जी चाहे तोड़ दू जी चाहे तोड़ दू बेईमान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना बेरुखी सी पहले दिलबर ज़ख्म देके जाती है काँटों की नोक से फिर मरहम लगाते है एक ऐसा आईना हो जिस में दिल दिखाए हम उनसे क्या है मेरा रिश्ता उनको बताये हम मुझपे अगर हो जाए मुझपे अगर हो जाए महेरबान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना देता नहीं सही जब देता नहीं सही जब पहेचान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना जाने क्यों देखता है इंसान आईना