Kabhi Aar Kabhi Paar - Trap Mix
Farooq Got Audio
अच्छा तो हम चलते हैं फिर कब मिलोगे जब तुम कहोगे जुम्मे रात को हाँ हाँ आधी रात को कहाँ वहीं जहाँ कोई आता जाता नहीं वहीं जहाँ कोई आता जाता नहीं अच्छा तो हम चलते हैं किसी ने देखा तो नहीं तुम्हें आते नहीं मैं आयी हूँ छुपके छुपाके देर कर दी बड़ी ज़रा देखो तो घड़ी उफ़्फ़ ओ मेरी तो घड़ी बन्द है तेरी ये अदा मुझे पसन्द है देखो बाते वातें कर लो जल्दी जल्दी फिर न कहना अभी आयी अभी चल दी तो आओ पास बैठें पल दो पल आज नहीं कल क्यों क्यों आज नहीं कल ये तो इक बहाना है वापस घर भी जाना है कितनि जळी ये दिन ढलते हैं हाय Farooq उड़ा है किस लिये तेरा रंग गोरी हमारी पकड़ी गयी है बस चोरी अच्छा राम जाने क्या हो अब कैसे हुआ ये ग़ज़ब मेरा आँचल जो ज़रा ढल गया सारी दुनिया को पता चल गया कैसे खेलेंगे अब आँख मिचोलि लेजा आके मेरे घर से मेरी डोली तेरे घर वाले न कर दे इंकार सब हैं तैय्यार सब हैं तैय्यार सुन ले फिर दिल की फ़रियाद बस बाक़ी शादी के बाद पिया देखो दिये जलते हैं अच्छा टाटा