Pehla Nasha 2
Udit Narayan
4:52तुझे बुलाये ये मेरी बाहें ना ऐसी गंगा कही मिलेगी मैं तेरा जीवन मैं तेरी किस्मत के तुझको मुक्ति यही मिलेगी मेरे ही पास तुझे आना हैं तेरे ही साथ मुझे जाना हैं मेरे ही पास तुझे आना हैं तेरे ही साथ मुझे जाना हैं गंगा ये तेरी हैं फिर कैसी देरी हैं आजा रे आजा रे अब आ भी जा तू आ भी जा ओ ओ ओ आ भी जा पहाड़ियों की बुलंदियों से कभी कनारो की दरमियान से कभी नज़र से कभी जुबां से तुझे पुकारा कहा कहा से तू जिसकी खोज में आया हैं वो जिसने तुझको बुलाया हैं तू जिसकी खोज में आया हैं वो जिसने तुझको बुलाया हैं पर्वत के पीछे हैं झरने के पीछे हैं आजा रे आजा रे अब आ भी जा तू आ भी जा ओ ओ ओ आ भी जा कोहरे की चादर लपेटे हूँ पानी में खुद को समेटे हूँ कोहरे की चादर लपेटे हूँ पानी में खुद को समेटे हूँ बाहों के घेरे में मन के बसेरे में आजा रे आजा रे अब आ भी जा तू आ भी जा ओ ओ ओ आ भी जा सुनो तो गंगा ये क्या सुनाये के मेरे तट पर वो लोग आये जिन्होंने ऐसे नियम बनाये के प्राण जाये पर वचन ना जाये वादे पे तेरे भरोसा हैं मैं जानती हू तू मेरा हैं वादे पे तेरे भरोसा हैं मैं जानती हू तू मेरा हैं जब तक ना आयेगा दिल मेरा गायेगा आजा रे आजा रे ओ साहिबा ओ साहिबा ओ साहिबा