Ehsan Tera Hoga Mujh Par
Mohammed Rafi
3:27मैं ने शायद तुम्हें पहले भी कहीं देखा है मैं ने शायद तुम्हें मैं ने शायद तुम्हें पहले भी कहीं देखा है मैं ने शायद तुम्हें अजनबी सी हो मगर गैर नहीं लगती हो वहम से भी जो हो नाज़ुक वो यकीं लगती हो हाय ये फूल सा चेहरा ये घनेरी ज़ुल्फ़ें मेरे शेरों से भी तुम मुझको हंसीं लगती हो मैं ने शायद तुम्हें देखकर तुमको किसी रात की याद आती है एक ख़ामोश मुलाक़ात की याद आती है जहाँ में हुस्न की ठंडक का असर जगता है आंच देती हुई बरसात की याद आती है मैं ने शायद तुम्हें पहले भी कहीं देखा है मैं ने शायद तुम्हें जिसकी पलकें मेरी आँखों पे झुकी रहती हैं तुम वही मेरे ख़यालों की परी हो की नहीं कहीं पहले की तरह फिर तो न खो जाओगी जो हमेशा के लिये हो वो खुशी हो की नहीं मैं ने शायद तुम्हें पहले भी कहीं देखा है मैं ने शायद तुम्हें